दीपक बिष्ट
यह ताल खतलिंग ग्लेशियर के पश्चिमी चोर पर 4572 मीटर की ऊंचाई पर स्तिथ है।
इस ताल की खूबसूरती का राज इसका अनछुआ हिस्सा है जो प्रकृति ने इसे दुनिया से बचाकर अपने आँचल में छुपाया है।
इस ताल के पास अन्य झीलें भी मौजूद है। जिनकी संख्या सात है। ।
ये झील हैं दूधी ताल, दर्शनताल, लुम्बताल, लिंगताल, कोकालीतल, नरसिंगताल और परिताल
ये ताल उत्तराखंड में स्तिथ उत्तरकाशी और टिहरी जिलों के बार्डर पर स्तिथ है। इन झीलों की यात्रा मनोरम भिलंगना नदी घाटी से होकर गुजरती है।
सहस्त्रताल पहुंचने के लिए यदि आप बहरी राज्य से उत्तराखंड में आ रहे हैं तो आपको ट्रैन के माध्यम से हरिद्वार, और हवाई मार्ग से देहरादून के जोलीग्रांट हवाईअड्डे पर पहुंचना होगा।
उसके बाद आपको सड़क मार्ग से उत्तराखंड के टिहरी जिले में आना होगा।
टिहरी से 64 किमी घनसाली, घनसाली से 31 किमी घुत्तू फिर घुत्तू से 14 किमी बूढ़ाकेदार।
और बूढ़ाकेदार के बाद आपको ट्रेक करके 15 किमी दूर बेलक और बेलक से महज 10 किमी ट्रेक करके सहस्त्रताल।
सहस्त्रताल जाने का ट्रेक वैसे तो जून से अक्टूबर तक खुला रहता है।
मगर मॉनसून व् बरसात के कारण सहस्त्रताल जाने का सबसे उपयुक्त समय जून मध्य से जुलाई व शीतकाल में अगस्त - सितंबर के बीच है।
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